पंजाब दस्तक(सुरेन्द्र राणा); पंजाब में विधानसभा चुनाव की घोषणा से लगभग 2 हफ्ते पहले कांग्रेस सरकार ने अचानक अकाली दल के सीनियर नेता बिक्रम मजीठिया पर केस दर्ज कर सबको चौंका दिया। कहने के लिए यह महज कानूनी कार्रवाई है, लेकिन इसके गहरे सियासी मायने लगाए जा रहे हैं।
राज्य के पूर्व मंत्री बिक्रम मजीठिया शिरोमणि अकाली दल के अध्यक्ष सुखबीर बादल के साले और उनकी सांसद पत्नी हरसिमरत कौर बादल के सगे भाई हैं। ऐसे में कांग्रेस सरकार ने एक दांव से पूरे बादल परिवार को घेरने की तैयारी कर ली है।
दरअसल चुनाव में सियासी छवि सबसे अहम होती है।सिद्धू-चन्नी की जोड़ी ने मजीठिया को ड्रग्स मामले में आरोपी बनाकर सीधे अकाली दल की साख पर हमला किया है। हालांकि यह दांव कितना प्रभावी होगा? यह सरकार की तरफ से आगे की कार्रवाई पर निर्भर करेगा। अगर यह सिर्फ केस दर्ज करने की खानापूर्ति साबित हुई तो यह दांव कांग्रेस पर उल्टा भी पड़ सकता है।
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