सरकार के नियंत्रण वाले ठेकों से नशों की बरामदगी गंभीर चिंता का विषय, मुख्यमंत्री पंजाबियों को स्थिति स्पष्ट करें: हरदेव सिंह उभ्भा

1 min read

मोहाली, सुरेंद्र राणा:पंजाब सरकार पंजाब में नशे पर रोक लगाने में पूरी तरह से विफल रही है, बेखौफ केमिस्ट की दुकानों पर नशा बिकना , नशा तस्करों के द्वारा जगह-जगह खुलेआम नशा बेचना ,लुधियाना में करीब 66 शराब की दुकानों से नशे बरामद होना, और नशे को रोकने वालों को सरेआम धमकियां देना और उन पर जानलेवा हमले करना, पंजाब पुलिस के द्वारा नशा तस्करों के खिलाफ़ कार्रवाई करने की बजाय नशा रोकने वाले पंजाबियों पर पर्चा दर्ज करना, उन्हें जेलों में डालना, भगवंत सरकार पर सवालिया निशान खड़ा करता है। ये बातें भाजपा राज्य मीडिया सह सचिव हरदेव सिंह उभ्भा ने व्यक्त कीं।

उन्होंने कहा कि नशे के मुद्दे पर मुख्यमंत्री समेत आम आदमी पार्टी सरकार की चुप्पी, छोटी छोटी बातों पर ट्वीट करने वाले मुख्यमंत्री भगवंत मान अब कहां हैं, उन्हें पंजाबियों को टवीट करके, लाइव होकर बताना चाहिए कि शराब के ठेकों पर नशीली दवाएं बेचने वाली ,वालिया कौन सी कंपनियां है और उनके मालिक कौन हैं, उनकी मदद कौन कर रहा है, सभी के नाम सार्वजनिक किए जाने चाहिए और ऐसे लोगों का सामाजिक बहिष्कार किया जाना चाहिए।

उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री को बताना चाहिए कि उनके शासन में नशा तस्करों की मदद कौन कर रहा है, क्यों कर रहा है? पंजाब में नशा कैसे बिक रहा है। चार हफ्ते में नशा खत्म करने का वादा करके पंजाब में सरकार बनाने वाले अरविंद केजरीवाल अब कहां हैं? पंजाबियों को बताएं कि वे पंजाब से नशा कब खत्म करेंगे और उन्हें यह भी बताएं कि उनकी पार्टी के नेता नशे के मुद्दे पर चुप क्यों हैं, उनका रुख क्या है, नशा तस्करों के प्रति इतनी नरमी क्यों बरती जा रही है। उन्होंने कहा कि अगर चंडीगढ़ पुलिस लुधियाना से नशा बरामद कर सकती है तो पंजाब पुलिस क्या कर रही है, यह चिंता का विषय है, क्या पंजाब पुलिस किसी राजनीतिक दबाव में काम कर रही है और नशा तस्करों को बचा रही है?

हरदेव उभ्भा ने कहा कि पंजाब में नशे का प्रसार दिन-ब-दिन बढ़ता जा रहा है, खुलेआम नशा बिक रहा है और लड़कियां भी नशे की आदी हो रही हैं,

यह गंभीर चिंता का विषय है ।पुलिस नशा तस्करों के खिलाफ कार्रवाई नहीं कर रही है। सरकार को इस पर ध्यान देना चाहिए। मुख्यमंत्री भगवंत मान को पंजाबियों से बिल्कुल भी सहानुभूति नहीं है, पंजाब बाढ़ में डूबा पड़ा है, पंजाब का हर वर्ग प्रदर्शन कर रहा हैं, किसानों पर अत्याचार हो रहा है। पंजाब में गुलाबी सुंडी, ओलावृष्टि और बाढ़ से हुए नुकसान का अभी तक मुआवजा नहीं दिया गया है और न ही सरकार लोगों की कोई मदद कर रही है। लेकिन, हमारे मुख्यमंत्री दूसरे राज्यों में पार्टी के चुनाव प्रचार में व्यस्त हैं और जिसके खर्च का बोझ भी पंजाब के खजाने पर पड़ रहा है.

You May Also Like

More From Author

+ There are no comments

Add yours