शिमला, सुरेन्द्र राणा; हिमाचल प्रदेश बागवानी उत्पाद विपणन एवं प्रसंस्करण निगम (एचपीएमसी) सेब से हार्ड वाइन (एप्पल लिक्योर) बनाएगा। इसमें अल्कोहल की मात्रा करीब 20 फीसदी होगी। एप्पल वाइन में अल्कोहल की मात्रा 11.5 फीसदी जबकि एप्पल शनैप्स में 50 फीसदी होती है। एप्पल लिक्योर में अल्कोहल की मात्रा कम होती है इसलिए इसे स्वास्थ्य के लिए फायदेमंद माना जाता है।
एचपीएमसी बीते कई सालों से सेब का जूस, जैम, विनेगर और साइडर बना रहा है। एप्पल लिक्योर की बाजार में खूब मांग है और इसकी कीमत भी सेब के अन्य उत्पादों के मुकाबले अधिक रहती है। लिहाजा निगम वित्तीय स्थिति को मजबूत करने के लिए अपने प्रसंस्करण संयंत्रों में एप्पल लिक्योर बनाने की तैयारियों में जुट गया है। एप्पल लिक्योर बनाने के लिए एचपीएमसी विशेषज्ञों की राय ले रहा है। इटली की एक कंपनी से भी संपर्क किया गया है। एचपीएमसी के ठियोग के पराला, परवाणू और जरोल में तीन प्रसंस्करण संयंत्र हैं।
सेब की शराब के उत्पादन के लिए इन संयंत्रों का आधुनिकीकरण करना होगा या अलग संयंत्र लगाना होगा इस पर भी विशेषज्ञों की राय ली जा रही है। एप्पल लिक्योर एंटीऑक्सीडेंट और विटामिन सी से भरपूर होती है। एंटीऑक्सिडेंट शरीर को कोशिका क्षति से लड़ने में मदद करते हैं। यह कैंसर, मधुमेह और हृदय रोग से बचाव के लिए कारगर हैं। एप्पल लिक्योर विटामिन सी का अच्छा स्रोत हैं।
विशेषज्ञों की ले रहे राय
एप्पल लिक्योर बनाने की योजना है। इसके लिए विशेषज्ञों की राय ली जा रही है। बाजार में इसकी खूब मांग हैं जिसके चलते एप्पल लिक्योर से निगम की वित्तीय स्थिति मजबूत होने की उम्मीद है- सुदेश कुमार मोख्टा, प्रबंध निदेशक, एचपीएमसी
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