शिमला, सुरेंद्र राणा: हिमाचल प्रदेश हाईकोर्ट ने सरकार को डिपो संचालकों की ओर से मृत व्यक्तियों के नाम पर राशन आवंटन करने के मामले में की गई धांधलियों पर अनुपूरक हलफनामा दायर करने के आदेश दिए हैं। सरकार की ओर से दायर हलफनामे में कहा गया कि डिपो संचालकों के खिलाफ चालान पेश कर दिया गया है। सरकार ने कहा कि इस मामले में अभी भी कुछ लोगों पर कार्रवाई की जा रही है। कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश तरलोक सिंह चौहान और सत्येन वैद्य की अदालत ने जिला अटॉर्नी को इस मामले में जांच करने को कहा है।

बता दें कि यह मामला मंडी के बल्ह ब्लॉक में आया है। जहां पर डिपो संचालकों पर राशन आवंटन करने में भारी गड़बड़ी के आरोप हैं। अदालत में मामला आने के बाद अभी तक 7 डिपो संचालकों के खिलाफ दो एफआईआर दर्ज हो चुकी हैं। याचिकाकर्ता के अधिवक्ता ने अदालत को बताया कि फूड इंस्पेक्टर की जिम्मेदारी होती है कि वे राशन कार्डधारकों का पूरा ब्योरा रखे। अगर किसी भी राशनकार्ड धारक की मृत्यु होती है तो राशनकार्ड से नाम हटाएं और समय पर ऑडिट करें।

उन्होंने आरोप लगाए हैं कि सरकार ने वित्तीय वर्ष में 900 करोड़ से 2,000 हजार करोड़ रुपये का प्रावधान जनता को राशन बांटने के लिए किया है। उसके बाद भी प्रदेश भी बड़ी मात्रा में गड़बड़ियां और धांधलियां हो रही हैं। इस मामले की अगली सुनवाई 5 नवंबर को होगी। कैहड़ और रिगड पंचायत के डिपो और सब डिपो में करीब 600 राशन कार्डधारक थे। इनमें से कुछ राशनकार्ड मृत व्यक्तियों के नाम पर चल रहे थे। कुछ लोग जो राशन नहीं लेते हैं, उनके नाम से जाली बिल जारी किए गए थे।

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