पंजाब दस्तक: आयकर विभाग ने कांग्रेस को इनकम टैक्स डिपार्टमेंट ने नए नोटिस दिए हैं। इनमें 2014 से 2017 के लिए 1745 करोड़ रुपए के टैक्स की डिमांड की गई है। इन ताजा नोटिस के साथ कांग्रेस पर टैक्स डिमांड बढक़र 3567 करोड़ रुपए हो गई है। आईटी विभाग ने2014-15 के लिए 663 करोड़ रुपए, 2015-16 के लिए 664 करोड़ रुपए और 2016-17 के लिए 417 करोड़ रुपए का टैक्स डिमांड नोटिस कांग्रेस को भेजा है।
कांग्रेस से जुड़े सूत्रों का दावा है कि आईटी विभाग ने राजनीतिक दलों को मिलने वाली टैक्स रिबेट खत्म कर दी है और पूरे कलेक्शन के लिए पार्टी पर टैक्स लगा दिया है। रिपोटस में यह भी कहा है कि जांच एजेंसी ने छापे में कांग्रेसी नेताओं से जब्त डायरियों की थर्ड पार्टी को लेकर हुई एंट्रीज पर भी टैक्स लगाया है। कांग्रेस को दो दिन पहले यानी 29 मार्च को आयकर विभाग से 1700 करोड़ को नोटिस मिला था।
इसके अलावा 123 करोड़ रुपए का भुगतान करने को भी कहा गया था। यह डिमांड नोटिस 2017-18 से 2020-21 के लिए है। इसमें जुर्माने के साथ ब्याज भी शामिल है।
कांग्रेस के सीनियर नेता विवेक तन्खा ने एक्स पर पोस्ट में लिखा कि पागलपन की पराकाष्ठा है। पिछले तीन दिनों में कांग्रेस पर 3567.33 करोड़ रुपए के एस्ट्रोनॉमिकल फिगर से टैक्स की मांग हुई है। कांग्रेस मुक्त भारत के भाजपा मिशन के लिए उनके निष्ठावान राजस्व विभाग के अधिकारियों को धन्यवाद। लेकिन यह याद रखें, भारतीय मतदाताओं ने कभी भी निरंकुश आचरण का समर्थन नहीं किया है। विपक्षी दलों के बिना कोई भी लोकतंत्र संभव नहीं है।
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