शिमला, सुरेंद्र राणा: हिमाचल हाईकोर्ट ने दुष्कर्म पीड़िता का टू फिंगर टेस्ट करने पर पालमपुर सिविल अस्पताल के डॉक्टरों को कड़ी फटकार लगाने के साथ ही पांच लाख रुपये का जुर्माना लगाया। हाईकोर्ट ने टू फिंगर टेस्ट करने वाले डॉक्टरों से जुर्माने की रकम वसूल कर पीड़िता को देने के आदेश दिए हैं। अब मामले की सुनवाई 27 फरवरी को होगी।
हाईकोर्ट ने डॉक्टरों को सख्त चेतावनी देते हुए कहा कि ऐसा परीक्षण करने वालों पर मुकदमा चलाया जाएगा। अदालत ने अस्पताल की ओर से डिजाइन किए जांच के प्रोफॉर्मा को कानून की नजर में खराब माना और कहा कि यह भारतीय साक्ष्य अधिनियम की धारा 53ए की अनदेखी करता है। साथ ही यह यौन हिंसा के शिकार लोगों के साथ स्वास्थ्य पेशेवरों के व्यवहार को लेकर स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय की ओर से जारी दिशा-निर्देशों का भी उल्लंघन है। हाईकोर्ट ने स्वास्थ्य सचिव को भी समन किया था जो अस्पताल की तरफ से जांच के लिए तैयार प्रोफॉर्मा को उचित नहीं ठहरा सके। उन्होंने कहा कि यह प्रोफॉर्मा कुछ डॉक्टरों की तरफ से तैयार किया है, जिसे तुरंत वापस लिया जाता है।
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