बेबस बाप की दास्तां: अंतिम संस्कार को नहीं थे पैसे, घर में दबाया बेटे का शव

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पंजाब दस्तक: दो बहनों के इकलौते भाई की पांच दिन पहले मौत हो गई थी, लेकिन गरीब पिता के पास बेटे के शव पर कफन डालने और अंतिम संस्कार के लिए लकड़ी खरीदने तक के पैसे नहीं थे। लाचार पिता ने घर के आंगन में ही गड्ढा खोदा और शव को दबा दिया। बात फैली, तो पांच दिन बाद रिश्तेदार पहुंचे। उन्होंने मोहल्ले के लोगों की मदद से शव को बाहर निकालकर अंतिम संस्कार करवाया।

यह घटना पटियाला के बडूंगर इलाके की जय जवान कॉलोनी की है। मृतक की पहचान 17 साल के लवी के तौर पर हुई है। संबंधित थाना सिविल लाइन के प्रभारी हरजिंदर सिंह ढिल्लों ने कहा कि नौजवान की मौत प्राकृतिक थी। शनिवार को परिवार के सभी रिश्तेदार थाने पहुंचे थे और उन्होंने इस संबंध में हलफिया बयान दिया है।

दो महीने से बिस्तर पर था लवी

प्रभारी हरजिंदर सिंह ढिल्लों ने बताया कि लवी के पिता भगवान दास माली जो मजदूरी करते हैं। लवी बचपन से ही मानसिक तौर पर परेशान था। करीब दो महीने उसे किसी अज्ञात वाहन ने टक्कर मार दी थी, जिसके बाद पिता गरीबी के चलते बेटे का इलाज नहीं करा सका और तब से लवी बिस्तर पर ही था। बीते रविवार को लवी की मौत हो गई। पिता भगवान दास के पास अंतिम संस्कार करने के लिए पैसे नहीं थे। भगवान दास ने किसी के आगे हाथ फैलाना सही नहीं समझा और बेटे को आंगन में ही दबा दिया।

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