शिमला, सुरेंद्र राणा हिमाचल प्रदेश की राजधानी को निचले हिमाचल से जोड़ने वाले नेशनल हाईवे-205 शिमला-परौर पर घंडल के पास क्षतिग्रस्त बैली ब्रिज को ठीक कर यातायात के लिए खोल दिया है। इससे बिलासपुर, मंडी, हमीरपुर, धर्मशाला, कांगड़ा सहित ऊपरी शिमला आने वाले लोगों ने राहत की सांस ली है। आठ दिन बाद गुरुवार रात करीब 7:00 बजे बैली ब्रिज से यातायात को बहाल किया गया। लोक निर्माण विभाग के मुताबिक भारी बारिश से घंडल के पास बैली ब्रिज के नीचे से लगातार मिट्टी गिरने से खतरा बना था।
अब बैली ब्रिज को कंकरीट की दीवार बनाकर सुरक्षा प्रदान की गई है। यहां 55 लाख रुपये से 9 मीटर लंबे और 12 मीटर ऊंची डंगे का निर्माण किया है। इसका कार्य मंगलवार को पूरा कर लिया था। लोनिवि के अधीक्षण अभियंता दीपक राज चौहान ने बताया कि बैली ब्रिज के क्षतिग्रस्त हिस्से को ठीक कर दिया है। सड़क पर वाहनों की आवाजाही सुचारू करने के बारे प्रशासन को अवगत करवा दिया है। गौरतलब है कि 13 जुलाई को भारी बारिश के कारण बैली ब्रिज सड़क धंसने से बंद हो गया था। इससे कई क्षेत्रों का राजधानी से संपर्क कट गया था।
लोक निर्माण मंत्री विक्रमादित्य सिंह ने भी क्षतिग्रस्त घंडल पुल का निरीक्षण कर अधिकारियों को इसे जल्द दुरुस्त करने के निर्देश दिए थे। इसके बाद से ब्रिज बहाली को लेकर मजदूर युद्धस्तर पर कार्य में जुटे थे। इस दौरान लोगों को राहत देने के लिए यहां शटल बसों की व्यवस्था की थी। बावजूद लोगों को पैदल आवाजाही कर सामान ढोने के लिए मजबूर होना पड़ा है। इससे रोजाना हजारों लोगों को अपने गंतव्य तक आने-जाने में कठिनाइयों का सामना करना पड़ रहा था।
लोगों को करना पड़ रहा था कई किमी अतिरिक्त सफर
नेशनल हाईवे-205 बंद होने के बाद वाहनों को 9 किमी से लेकर 34 किमी तक का अतिरिक्त सफर करना पड़ रहा था। चंद मिनट के सफर में कई कई घंटे लग रहे थे। ग्रामीण क्षेत्रों की सड़कों से ट्रैफिक डायवर्ट होने से स्थानीय लोग भी परेशान थे। इन संपर्क मार्गों पर भी लगातार भूस्खलन होने से लोगों को दिक्कतें झेलनी पड़ रही थीं। निचले हिमाचल से शिमला की ओर आने वाले भारी वाहन वाया गलोग-धामी-बागीपुल-देवनगर-घणाहट्टी तथा छोटे वाहन बंगोरा-सोलह मील-शकराह-घणाहट्टी से चल रहे थे।
+ There are no comments
Add yours